दुनिया का ध्यान जब अमेरिका और डोनाल्ड ट्रंप की टैरिफ वॉर पर केंद्रित था, उसी समय इजरायल ने ऐसी कार्रवाई कर दी जिसने पूरी दुनिया को चौंका दिया। इजरायली वायुसेना और खुफिया एजेंसी मोसाद ने मिलकर यमन में हूती विद्रोहियों की टॉप लीडरशिप को एक ही स्ट्राइक में खत्म कर दिया। इस ऑपरेशन को इजरायल की खुफिया एजेंसी का अब तक का सबसे बड़ा मिशन बताया जा रहा है।
ऑपरेशन “ए ड्रॉप ऑफ लक”
इजरायल ने इस सीक्रेट मिशन को “ए ड्रॉप ऑफ लक” नाम दिया। इस ऑपरेशन में हूती विद्रोहियों के प्रधानमंत्री अहमद अल-रहावी, रक्षा मंत्री मोहम्मद नासिर अल-अतीफी और सेना प्रमुख मुहम्मद अब्द अल-करीम अल-घमारी समेत कई बड़े नेता मारे गए। रिपोर्ट्स के मुताबिक, इस हमले में हूती संगठन के 10 से अधिक मंत्री भी ढेर हो गए।
कैसे चला ऑपरेशन?
28 अगस्त को यमन की राजधानी सना में इजरायल ने एयरस्ट्राइक की। अल-जुम्हरिया चैनल के अनुसार, उस समय हूती पीएम अहमद अल-रहावी और उनके सहयोगी एक अपार्टमेंट में मौजूद थे और हूती प्रमुख अब्दुल मलिक अल-हूती का भाषण देख रहे थे। तभी इजरायल ने टारगेटेड हमला किया और पूरा नेतृत्व ध्वस्त कर दिया।
इजरायल की चेतावनी
इजरायली आर्मी ने पुष्टि की है कि इस एयरस्ट्राइक में सना के सैन्य ठिकाने और राष्ट्रपति भवन को भी निशाना बनाया गया। इजरायल के रक्षा मंत्री इसराइल काट्ज़ ने बयान दिया –
“जो भी इजरायल के खिलाफ हथियार उठाएगा, उसका अंजाम बुरा होगा।”
यमन की प्रतिक्रिया
यमनी अधिकारियों ने दावा किया कि इस हमले में 10 लोग मारे गए और करीब 90 लोग घायल हुए। हालांकि, इजरायली सेना ने अब तक हूती नेतृत्व की मौत की आधिकारिक पुष्टि नहीं की है। बावजूद इसके, स्थानीय मीडिया और अंतरराष्ट्रीय रिपोर्ट्स इसे मोसाद और इजरायल की अब तक की सबसे बड़ी सफलता मान रहे हैं।
दुनिया के लिए संदेश
इस ऑपरेशन ने एक बार फिर दुनिया को यह संदेश दिया है कि इजरायल अपने दुश्मनों को दुनिया के किसी भी कोने में तलाश कर खत्म करने की क्षमता रखता है। चाहे दुश्मन कितना भी ताकतवर क्यों न हो या कितनी भी सुरक्षा घेरे में क्यों न छिपा हो, मोसाद और इजरायल की वायुसेना उसे ढूंढकर खत्म करना जानते हैं।
