दक्षिण भारत का सबसे बड़ा त्योहार ओणम आ गया है और इसी खुशी में केरल के स्कूलों में बच्चों को 10 दिनों की लंबी छुट्टी मिल गई है। यह छुट्टी 4 सितंबर से शुरू होकर 7 सितंबर 2025 तक रहेगी। ओणम का त्योहार भगवान विष्णु और राजा महाबली की आस्था से जुड़ा है।
केरलवासी साल भर इस त्यौहार का बेसब्री से इंतज़ार करते हैं और इसे बड़े उत्साह से मनाते हैं। इस बार भी भारी बारिश के बावजूद लोग अपने परिवारों के साथ इस त्यौहार को मना रहे हैं। आइए, जानते हैं इस छुट्टी का क्या महत्व है, स्कूल कब खुलेंगे और इस दौरान क्या-क्या होगा।
ओणम त्यौहार क्यों खास है?
ओणम का त्यौहार दस दिनों तक मनाया जाता है। यह केरल के लोगों के प्रिय राजा महाबली के स्वागत का प्रतीक है। ऐसा माना जाता है कि उनके शासनकाल में केरल सबसे समृद्ध और खुशहाल था। हर साल वे अपनी प्रजा से मिलने आते हैं और इसी खुशी में लोग इस त्यौहार को बड़े उत्साह से मनाते हैं। ओणम के हर दिन का अपना अलग महत्व होता है, जिसमें पूजा-पाठ, फूलों की रंगोली (पूक्कलम), पारंपरिक खेल, नृत्य और स्वादिष्ट व्यंजन शामिल होते हैं।
अर्धवार्षिक परीक्षाओं का समापन
ओणम की छुट्टियों का समय स्कूलों के शैक्षणिक कैलेंडर से भी जुड़ा हुआ है। ज़्यादातर स्कूलों में, छुट्टियों से पहले ही अर्धवार्षिक परीक्षाएँ समाप्त हो जाती हैं। छुट्टियों के दौरान शिक्षकों को कॉपियाँ जाँचने और परिणाम तैयार करने का समय मिलेगा। उम्मीद है कि 8 सितंबर को स्कूल खुलने पर छात्रों को उनके परीक्षा परिणामों की जानकारी दे दी जाएगी।
बच्चों के लिए शिक्षा अधिकारियों की सलाह
केरल के शिक्षा अधिकारियों ने छात्रों को छुट्टियों का पूरा आनंद लेने और अपनी पढ़ाई के लिए भी कुछ समय निकालने की सलाह दी है। उन्होंने यह भी कहा है कि बच्चों को इस दौरान सांस्कृतिक गतिविधियों में अवश्य भाग लेना चाहिए।
अभिभावकों को सलाह दी गई है कि वे किसी भी नई जानकारी या बदलाव के लिए अपने स्कूल के संपर्क में रहें या केरल सामान्य शिक्षा विभाग की वेबसाइट पर जारी आधिकारिक सूचना देखें। 8 सितंबर से स्कूल फिर से खुलेंगे और कक्षाएं सामान्य रूप से चलेंगी।