रबी सीजन में गेहूं सरसों एवं अन्य खरीफ फसलों के लिए कौन सा पोटाश (Potash in Rabi Crops) उचित रहेगा आइए जानते हैं
Potash in Rabi Crops | रबी सीजन की शुरुआत हो चुकी है। किसान साथी फसलों की बुवाई करने में लगे हुए हैं, इस वर्ष गेहूं एवं सरसों की बुवाई का रकबा बढ़ाने की संभावना है।
अधिक पैदावार के लिए फसलों को जरूरी पोषक तत्वों की आवश्यकता रहती है। पोषक तत्व की पूर्ति के लिए फसलों को उर्वरक देना आवश्यक है।
सही प्रकार के उर्वरकों के चयन से फसलों की पैदावार में बढ़ोतरी होती है। गेहूं की फसल के लिए जिस प्रकार भाजपा एवं एमपी के आवश्यक है उसी प्रकार पोटाश भी जरूरी है। Potash in Rabi Crops
बाजार में दो प्रकार के पोटाश उपलब्ध है एक पोटाश लाल एवं दूसरा सफेद इन दोनों पोटाश में से गेहूं सरसों की फसल के लिए सबसे अधिक फायदेमंद कौन सा रहता है आईए जानते हैं..
लाल पोटाश के बारे में जानिए
लाल पोटाश (MOP) का रासायनिक नाम पोटेशियम क्लोराइड (KCI) है, जिसमें लगभग 60% पोटेशियम और 40% क्लोराइड होता है। लाल पोटाश का लंबे समय तक अधिक उपयोग करने से मिट्टी में क्लोराइड का स्तर बढ़ सकता है, जो मिट्टी की गुणवत्ता और जल निकासी को प्रभावित करता है। Potash in Rabi Crops
यह पोटाश खारे पानी वाले क्षेत्रों में इसका अधिक मात्रा में प्रयोग हानिकारक होता है। इसमें सल्फर नहीं होता और इसकी कम लागत इसे गेहूं, मक्का, धान, गन्ना, सोयाबीन, दालें और मूंगफली जैसी सामान्य फसलों के लिए उपयुक्त बनाती है।
इसमें क्लोराइड की अधिक मात्रा होने के कारण यह क्लोराइड-संवेदनशील फसलों के लिए अनुकूल नहीं है, लेकिन यह उन फसलों में उपयोगी है जो क्लोराइड सहन कर सकती हैं। इसकी उपस्थिति से मिट्टी में क्लोराइड का स्तर बढ़ सकता है। लाल पोटाश सफेद पोटाश की अपेक्षा मूल्य में भी काफी किफायती होता है। Potash in Rabi Crops
सफेद पोटाश के बारे में जानिए
सफेद पोटाश (SOP) का रासायनिक नाम पोटेशियम सल्फेट (K2SO4) है, जिसमें 50% पोटेशियम और 18% सल्फर होता है, जबकि इसमें क्लोराइड नहीं होता। सफेद पोटाश लाल पोटाश की तुलना में अधिक महंगा होता है। Potash in Rabi Crops
लाल एवं सफेद में से कौनसा अधिक फायदेमंद जानें
कृषि विशेषज्ञ बताते हैं कि लाल पोटाश की तुलना में सफेद पोटाश खासकर गेहूं एवं सरसों की फसल के लिए अधिक फायदेमंद रहता है। इसके अलावा अन्य रवि फसलों के लिए लाल पोटाश को बेहतर माना गया है। Potash in Rabi Crops
इधर, डीएपी की जगह एनपीके देना उचित रहेगा
किसान कल्याण तथा कृषि विभाग के उप संचालक श्री आरपीएस नायक ने यह जानकारी देते हुए बताया कि बाजार में एनपीके के विभिन्न विकल्प 12:32:16 या 10:26:26 एवं 16:16:16 एवं 20:20:0:13 के नाम से उपलब्ध है। बुवाई के समय एनपीके से फसलों में संतुलित मात्रा में पोषक तत्व आधार रूप से पौधे को उपलब्ध हो जाते हैं। Potash in Rabi Crops
इसके उपयोग से अलग से अन्य खाद की मात्रा देने की आवश्यकता नहीं होती है। संतुलित उर्वरक के उपयोग से उत्पादन लागत में कमी होती है और साथ ही उत्पादकता में वृद्धि होती है। इसलिये किसान डीएपी उर्वरक के स्थान पर एनपीके उर्वरक का उपयोग करें।