टाटा 1kW सोलर पैनल
टाटा सोलर इक्विपमेंट आज के समय में भारत में नंबर 1 ब्रांड है। प्रदूषण और पर्यावरणीय प्रभाव को कम करने पर वर्तमान में नागरिकों के बीच अधिक सोलर डिवाइस के उपयोग के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ रही है। सोलर डिवाइस पर्यावरण के अनुकूल तरीके से काम करते हैं और उनका उपयोग यूजर को ग्रिड बिजली बिलों में बचत करने की अनुमति देता है। सोलर सिस्टम को और अधिक बढ़ावा देने के लिए सरकार सक्रिय रूप से सब्सिडी के माध्यम से इन्हें अपनाने के लिए एनकरेज कर रही है। यदि आप टाटा 1 किलोवाट सोलर पैनल इनस्टॉल करने पर विचार कर रहे हैं तो टाटा सोलर सिस्टम को इनस्टॉल करने से जुड़ी लागतों के बारे में जानकारी लीजिए इस आर्टिकल में।
टाटा पावर सोलर मुख्य रूप से रेजिडेंशियल और कमर्शियल सेक्टर के लिए दो प्रकार के सोलर सिस्टम इनस्टॉल करता है जिन्हें ग्रिड-टाई सोलर सिस्टम और ऑफ-ग्रिड सोलर सिस्टम कहते है। ग्रिड-टाई सोलर सिस्टम में सोलर पैनल, सोलर इनवर्टर, ACDB/DCDB, वायर और अन्य उपकरणों का उपयोग किया जाता है। ऑफ-ग्रिड सोलर सिस्टम की तुलना में यह अधिक किफायती विकल्प है। ऑफ-ग्रिड सोलर सिस्टम में, सोलर बैटरियों को सिस्टम में इंटीग्रेटेड किया जाता है। यदि आपके घर का मासिक बिजली भार 800 वॉट है तो आप 1kW का सोलर सिस्टम इनस्टॉल कर सकते हैं। टाटा 1kW सोलर सिस्टम को इनस्टॉल करने की लागत लगभग 70,000 रूपए है। टाटा अपने सोलर सिस्टम पर 5 साल की वारंटी देता है।
टाटा के 1 kW सोलर पैनल की कीमत
किसी भी सोलर सिस्टम में सबसे महत्वपूर्ण और आवश्यक कॉम्पोनेन्ट सोलर पैनल है। टाटा विशेष रूप से पॉलीक्रिस्टलाइन और मोनोक्रिस्टलाइन दोनों सोलर पैनल बनाती है। पॉलीक्रिस्टलाइन सौर पैनलों की तुलना में मोनोक्रिस्टलाइन सौर पैनलों की लागत अधिक होती है। हालाँकि इस प्रकार के सौर पैनल बेहतर एफिशिएंसी और परफॉरमेंस प्रदर्शित करते हैं। 1kW सोलर सिस्टम में टाटा तीन 330-वाट सोलर पैनल लगाता है और प्रत्येक की कीमत लगभग 30 रूपए पर वाट है।
टाटा के 1kW के सोलर पैनल की कीमत करीब 35,000 रूपए है. हालांकि इनकी कीमत अन्य सौर ब्रांडों की तुलना में अधिक हो सकती है, टाटा पावर सोलर के सौर देवीकेस अधिकांश अन्य ब्रांडों से बेहतर प्रदर्शन करते हैं। टाटा अपने सोलर पैनल पर 25 साल की वारंटी प्रदान करता है।
टाटा के 1 kW सोलर इन्वर्टर की कीमत
सौर पैनल डायरेक्ट करंट (डीसी) के रूप में सौर ऊर्जा जेनेरेट करते हैं। इस डीसी को अल्टेरनेटिंग करंट (एसी) में परिवर्तित करने के लिए जो कि कई इलेक्ट्रिकल डिवाइस के लिए प्राइमरी रेक्विरेमेंट है, इस सिस्टम में एक सोलर इन्वर्टर का उपयोगभी किया जाता है। इस सोलर सिस्टम में टाटा PCU सोलर इनवर्टर (रेजिडेंशियल) जो एक ऑन-ग्रिड सोलर इनवर्टर का उपयोग किया जाता है जिसकी कीमत लगभग 20,000 रूपए तक होती है।
इंस्टॉल करने में होता है इतना खर्चा
प्राइमरी कॉम्पोनेन्ट के अलावा, टाटा के 1kW सोलर सिस्टम को इनस्टॉल करने में कई छोटे लेकिन महत्वपूर्ण कॉम्पोनेन्ट का उपयोग किया जाता है। इनमें ACDB/DCDB, वायरिंग और अन्य आवश्यक उपकरण भी शामिल हैं। सोलर सिस्टम को लगाने और लगाने की लागत लगभग 20,000 रूपए तक है।
क्या हैं फायदे टाटा सोलर सिस्टम के ?
टाटा पावर सोलर भारत में सोलर इक्विपमेंट बनाने वाली लीडिंग कंपनी है और इसके प्रोडक्ट अपनी रिलायबिलिटी के लिए प्रसिद्ध हैं। टाटा सोलर सिस्टम में उपयोग किए जाने वाले सौर पैनल 10 साल की प्रोडक्ट वारंटी और 25 साल की परफॉरमेंस वारंटी के साथ आते हैं जो 80% बिजली जेनेरशन की गारंटी देते हैं। इस सोलर सिस्टम में हाई-एफिशिएंसी सोलर कॉम्पोनेन्ट शामिल हैं जो स्ट्रेंथ और लम्बे समय में कारगर होने के प्रति टाटा की कमिटमेंट को प्रदर्शित करते हैं। टाटा के सोलर डिवाइस अपनी मजबूती और फ्लेक्सिबिलिटी के लिए प्रसिद्ध हैं जिन्हें विभिन्न मौसम स्थितियों में ऑपरेट करने के लिए डिज़ाइन किया गया है।
निष्कर्ष
टाटा के सोलर इक्विपमेंट की कीमत अन्य ब्रांडों की तुलना में अधिक है लेकिन इसकी परफॉरमेंस इसकी लागत को जस्टिफाई कर देता है। कंस्यूमर को सोलर सिस्टम में इनिशियल इन्वेस्टमेंट अधिक लग सकता है। जो लोग सोलर सिस्टम के लाभों को समझते हैं उन्हें एहसास होता है कि लागत अगले 5-6 वर्षों के अंदर वसूल हो जाती है। इसके बाद, आप एक्सटेंडेड पीरियड के लिए मुफ्त बिजली का लाभ उठा सकते हैं। सोलर सिस्टम का उपयोग करके आप एक बढ़िया भविष्य में योगदान करते हैं।