Five-day-working-week: भारत में बैंकों के संचालन को लेकर लंबे समय से 5 दिन काम के हफ्ते का प्रस्ताव चर्चा में है. फिलहाल देश में सभी रविवार और दूसरे-चौथे शनिवार को बैंक बंद रहते हैं. बैंक कर्मचारी यूनियनों और इंडियन बैंक्स एसोसिएशन के बीच सहमति बनी है कि हफ्ते में 5 दिन काम किया जाए. इसके तहत, शनिवार और रविवार को बैंक बंद होंगे, और कामकाजी दिनों में 40 मिनट अतिरिक्त काम करना होगा.
कामकाज समय में बदलाव
यदि यह प्रस्ताव लागू होता है, तो बैंकों (Revised Bank Working Hours) के कामकाजी समय में बदलाव होगा. बैंक शाखाएं सुबह 9:45 बजे से शाम 5:30 बजे तक खुलेंगी. फिलहाल बैंक आमतौर पर सुबह 10 बजे खुलते हैं और शाम 4 बजे तक सार्वजनिक लेन-देन (Public Dealing in Banks) का समय होता है. यूनियनों का कहना है कि 5 दिन वर्किंग से ग्राहकों की सेवाओं पर कोई असर नहीं पड़ेगा.
मार्च 2024 में साइन हुआ जॉइंट नोट
मार्च 2024 में IBA और बैंक यूनियनों (IBA and Bank Unions Agreement) के बीच 9वां जॉइंट नोट साइन हुआ था. इसमें हफ्ते में 5 दिन काम के प्रस्ताव को शामिल किया गया. हालांकि, इसे लागू करने के लिए वित्त मंत्रालय और भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की अंतिम मंजूरी आवश्यक है.
क्या दिसंबर में लागू होगा 5 दिन काम का नियम?
ऑल इंडिया बैंक ऑफिसर्स कन्फेडरेशन (AIBOC) के अनुसार, दिसंबर में इस प्रस्ताव के लागू होने की संभावना कम है. यूनियन महासचिव रूपम रॉय (AIBOC General Secretary) ने नाराजगी जताते हुए कहा कि सरकार से अब तक कोई सकारात्मक संकेत नहीं मिला है. AIBOC और अन्य यूनियनों ने इस मुद्दे पर आंदोलन की योजना भी बनाई है.
सरकारी पक्ष और कर्मचारी यूनियनों की अपील
यूनियनों ने सरकार और प्रधानमंत्री कार्यालय (Appeal to Government and PMO) से आग्रह किया है कि इस प्रस्ताव को प्राथमिकता दी जाए. उनका कहना है कि यह कदम कर्मचारियों के कामकाजी संतुलन और बैंकिंग क्षेत्र की कार्यक्षमता (Banking Sector Efficiency) को सुधारने के लिए जरूरी है.
बैंक कर्मचारियों की मांग और संभावित असर
5 दिन वर्किंग सप्ताह की मांग (Bank Employees’ Demand) कर्मचारियों की भलाई और उनके काम के घंटे को संतुलित करने के लिए की जा रही है. इससे न केवल कर्मचारियों का मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य सुधरेगा, बल्कि बैंकिंग सेक्टर की कार्यक्षमता और उत्पादकता (Banking Productivity) में भी सुधार होगा.