जब सड़क के बीच बना घर और मॉल के अंदर फंसा आशियाना बन गया चर्चा का विषय! जानिए उन जिद्दी लोगों की सच्ची कहानियां, जिन्होंने अपनी जमीन और सपनों को किसी कीमत पर नहीं बेचा।
जब कोई इंसान अपना घर बनाता है तो वह सिर्फ ईंट-पत्थर नहीं जोड़ता, उसमें अपनी भावनाएं, सपने और जीवन की पूंजी भी लगाता है। यही वजह है कि कई बार लोग किसी भी कीमत पर अपना आशियाना छोड़ने को तैयार नहीं होते। ऐसी ही कुछ इमारतें हैं जिन्हें ‘नेल हाउस’ कहा जाता है। ये घर या इमारतें सरकार या बड़े उद्योगपतियों की तमाम कोशिशों के बावजूद भी अपनी जगह पर अडिग रहीं। आज हम आपको दुनिया की कुछ ऐसी ‘ज़िद्दी इमारतों’ के बारे में बताएंगे जो न केवल अपनी जगह पर कायम रहीं, बल्कि खुद एक मिसाल बन गईं।
ट्रंप हाउस: अरबों की डील ठुकराने वाला एक घर
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने जब ट्रंप टावर (Trump Tower) बनाने की योजना बनाई थी, तो उन्हें एक घर की ज़रूरत थी जो उस क्षेत्र के बीचोंबीच स्थित था। उन्होंने उस घर के मालिक को करोड़ों डॉलर का ऑफर दिया, लेकिन वह व्यक्ति अड़ गया। उद्योगपति से राजनेता बने ट्रंप भी उस घर के मालिक को नहीं मना सके। आखिरकार ट्रंप टावर उस घर के बग़ल में ही बनाना पड़ा। यह घटना दिखाती है कि इंसान की ज़िद किसी भी ताकतवर हस्ती की योजना पर पानी फेर सकती है।
हाईवे के बीचोबीच बना घर: चीन का नेल हाउस
चीन के गुआंगडॉन्ग (Guangdong) शहर में एक हाईवे को उसकी अनोखी बनावट के लिए जाना जाता है। कारण है हाईवे के बीचोबीच बना एक पुराना घर। जब सड़क का निर्माण शुरू हुआ, तो इस घर के मालिक ने अपना मकान बेचने से मना कर दिया। चीन में ऐसे घरों को ‘नेल हाउस’ कहा जाता है, जो निर्माण कार्यों के बीच में ऐसे अड़ जाते हैं जैसे लकड़ी में फंसी कील। सरकार की लाख कोशिशों के बावजूद यह घर आज भी हाईवे के बीचोंबीच मौजूद है।
मॉल के बीचोंबीच खड़ा एक घर: एडिथ मेसफील्ड की ज़िद
अमेरिका के सिएटल शहर में एक महिला एडिथ मेसफील्ड ने अपना घर एक बड़े कमर्शियल प्रोजेक्ट के सामने नहीं बेचा। तीन तरफ से मॉल बन चुका था, लेकिन बीच में वही पुराना घर आज भी खड़ा है। डेवलपर्स ने लाखों डॉलर ऑफर किए लेकिन मेसफील्ड अपनी ज़मीन छोड़ने को तैयार नहीं हुईं। उनकी ये ज़िद आज भी सिएटल के इतिहास में दर्ज है और उनका घर एक तरह से प्रतिरोध की प्रतीक बन गया है।
न्यूयॉर्क का सैंडविच हाउस: दो इमारतों के बीच दबा घर
न्यूयॉर्क में मैरी कुक नाम की महिला का घर उसके आसपास की सभी इमारतों के ध्वस्त होने के बावजूद वैसा का वैसा खड़ा रहा। उसने किसी भी कीमत पर अपना घर तोड़ने की इजाजत नहीं दी। नतीजतन, अब उसके घर के दोनों ओर दो गगनचुंबी इमारतें हैं और उनका घर ठीक उनके बीच दबा हुआ है। यह नज़ारा बच्चों की कहानी की किताब जैसा लगता है, पर यह हकीकत है।
सड़क के बीच झोपड़ी: चीन की सरकार भी झुकी
चीन जैसी कम्युनिस्ट और ताकतवर सरकार भी एक छोटे से घर के मालिक के आगे झुक गई। सड़क निर्माण के दौरान एक झोपड़ी रास्ते में आ गई। सरकार ने मुआवज़ा और नया पक्का मकान देने का प्रस्ताव भी रखा, लेकिन मालिक टस से मस नहीं हुआ। मामला कोर्ट तक भी गया लेकिन अंततः सरकार को सड़क उसी झोपड़ी के आसपास बनानी पड़ी।
पांच मंजिला इमारत, और दोनों ओर हाईवे
चीन में ही एक और ज़िद्दी इमारत है—एक पांच मंजिला घर, जो सड़क के बीचोबीच खड़ा है। इस घर के दोनों ओर फर्स्ट क्लास हाइवे मौजूद है। सरकार ने इसे हटाने की पूरी कोशिश की लेकिन घर का मालिक अड़ा रहा। अब यह इमारत चीन के शहरी विकास में जन प्रतिरोध की मिसाल बन चुकी है।
फ्लाईओवर के नीचे बना घर: हंगरी का मामला
हंगरी में एक घर ऐसा है जिसके मालिक ने फ्लाईओवर प्रोजेक्ट के लिए अपना घर नहीं बेचा। सरकार ने ऊपर से फ्लाईओवर बना दिया और घर नीचे जस का तस मौजूद है। यह तस्वीर उन लोगों को चौंका देती है जो मानते हैं कि सरकारें सब कुछ कर सकती हैं।