ताइवान में इस साल सेमीकंडक्टर उपकरणों की मांग ऐतिहासिक उछाल पर रहने वाली है। उद्योग विशेषज्ञों का अनुमान है कि 2025 में यहां उपकरणों की बिलिंग दोगुनी हो जाएगी। निर्माता एआई (Artificial Intelligence) आधारित अनुप्रयोगों की बढ़ती वैश्विक ज़रूरतों को पूरा करने के लिए बड़े पैमाने पर उत्पादन क्षमता बढ़ाने की दिशा में काम कर रहे हैं।
सेमीकॉन ताइवान 2025 की शुरुआत से पहले आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में SEMI के इंडस्ट्री रिसर्च और स्टैटिस्टिक्स डायरेक्टर, क्लार्क त्सेंग ने कहा कि इस साल ताइवान में सेमीकंडक्टर उपकरणों की बिलिंग में 100% वार्षिक वृद्धि दर्ज होने की उम्मीद है। यह अनुमान पहले जताई गई 70% वृद्धि से काफी अधिक है।
त्सेंग के अनुसार, एआई-आधारित चिप्स—खासतौर पर ग्राफिक्स प्रोसेसिंग यूनिट्स (GPUs) और हाई बैंडविड्थ मेमोरी (HBM)—में बड़े निवेश ने ताइवान को वैश्विक स्तर पर सबसे तेज़ी से बढ़ते बाज़ार के रूप में स्थापित कर दिया है। आंकड़ों के मुताबिक, इस साल के शुरुआती सात महीनों में उपकरणों की बिलिंग बीते वर्ष की तुलना में 134% अधिक रही।
दक्षिण कोरिया ने भी एआई तकनीक की बढ़ती मांग से फायदा उठाया है। वहां जनवरी से जुलाई तक उपकरण बिलिंग में 38% सालाना वृद्धि दर्ज हुई। इसके उलट, चीन में पिछले साल उच्च आधार की वजह से इस अवधि में 11% गिरावट देखी गई।
वैश्विक स्तर पर, 2025 में सेमीकंडक्टर उपकरणों की बिलिंग में 7-10% की वृद्धि का अनुमान है। इसमें वेफर उपकरणों में 6-7%, आईसी टेस्टिंग में 23% और असेंबली उपकरणों में 8% उछाल की संभावना जताई गई है।
त्सेंग ने बताया कि 7 नैनोमीटर और उससे उन्नत प्रोसेस टेक्नोलॉजी पर आधारित चिप्स तथा मेमोरी चिप्स इस साल कुल वैश्विक बिलिंग का लगभग 40% हिस्सा होंगे। यह अनुपात 2027 तक 45% और 2030 तक 55% तक पहुँच सकता है।