केंद्र सरकार के कर्मचारियों और पेंशनधारकों की निगाहें इस समय आठवें वेतन आयोग (8th Pay Commission) पर टिकी हुई हैं। यह कि वेतन और पेंशन में कितनी बढ़ोतरी होगी, इसका सबसे बड़ा आधार फिटमेंट फैक्टर होगा। रिपोर्ट्स के मुताबिक, यह फैक्टर 1.83 से 2.57 के बीच रह सकता है। अगर ऐसा होता है, तो सैलरी में अच्छी-खासी बढ़ोतरी देखने को मिल सकती है।
आठवें वेतन आयोग के टर्म्स ऑफ रेफरेंस (ToR) को मंजूरी मिलने के बाद इसकी औपचारिक प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। रिटायर्ड जस्टिस रंजना देसाई की अध्यक्षता में आयोग अब यह तय करेगा कि कर्मचारियों की सैलरी, पेंशन और भत्तों में कितना बदलाव किया जाए। हालांकि, अंतिम फैसला केंद्र सरकार की मंजूरी के बाद ही लागू होगा।
क्या होता है फिटमेंट फैक्टर?
फिटमेंट फैक्टर एक तरह का मल्टीप्लायर होता है, जिसके जरिए मौजूदा बेसिक सैलरी से नई बेसिक सैलरी तय की जाती है। इसे तय करने में कई अहम बातें देखी जाती हैं, जैसे—
- महंगाई दर
- जीवन-यापन की लागत (Cost of Living)
- डॉ. वैलेस आर. आयक्रॉयड का फॉर्मूला
यह फार्मूला एक परिवार की न्यूनतम जरूरतों—खाना, कपड़ा और रहने के खर्च—को ध्यान में रखकर तय किया जाता है। सातवें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर 2.57 रखा गया था।
8वें वेतन आयोग में कितना हो सकता है फिटमेंट फैक्टर?
कई रिपोर्ट्स और विशेषज्ञों की राय के अनुसार, इस बार फिटमेंट फैक्टर 1.83 से 2.46 या 2.57 तक जा सकता है।
एनसी-जेसीएम के स्टाफ साइड मेंबर्स का मानना है कि यह सातवें वेतन आयोग के करीब भी रह सकता है।
एम्बिट कैपिटल की रिपोर्ट के अनुसार:
- यदि फिटमेंट फैक्टर 1.83 रहा, तो न्यूनतम सैलरी ₹18,000 से बढ़कर लगभग ₹32,940 हो सकती है
- अगर यह 2.46 या 2.57 रहा, तो न्यूनतम वेतन करीब ₹44,280 तक जा सकता है
यानि, एक ही संख्या (फिटमेंट फैक्टर) कर्मचारियों के वेतन में बड़ा अंतर ला सकती है।
सैलरी में कितनी प्रतिशत बढ़ोतरी संभव?
रिपोर्ट्स के मुताबिक, आठवें वेतन आयोग के बाद सैलरी में 14% से लेकर 54% तक की बढ़ोतरी संभव है। इसमें बेसिक पे और डीए (DA) दोनों शामिल हैं। हालांकि, 54% जैसी बड़ी वृद्धि सरकार के लिए वित्तीय बोझ बन सकती है, इसलिए यह पूरी तरह तय नहीं माना जा रहा।
फिर भी, विशेषज्ञों का मानना है कि उपभोग बढ़ाने और अर्थव्यवस्था को मजबूती देने के लिए सरकार अच्छी बढ़ोतरी पर विचार कर सकती है।
अलग-अलग ग्रेड पे पर संभावित नई सैलरी (उदाहरण)
(यहां HRA को 24%, TA 3,600 से 7,200 रुपये, NPS 10% और CGHS वर्तमान दर के अनुसार माना गया है)
Grade Pay 1900:
- 1.92 फैक्टर पर:
Basic: ₹54,528 | Gross: ₹71,215 | Net: ₹65,512 - 2.57 फैक्टर पर:
Basic: ₹72,988 | Gross: ₹94,105 | Net: ₹86,556
Grade Pay 2400:
- 1.92 पर: Net ₹86,743
- 2.57 पर: Net ₹1,14,975
Grade Pay 4600:
- 1.92 पर: Net ₹1,31,213
- 2.57 पर: Net ₹1,74,636
Grade Pay 7600:
- 1.92 पर: Net ₹1,82,092
- 2.57 पर: Net ₹2,41,519
Grade Pay 8900:
- 1.92 पर: Net ₹2,17,988
- 2.57 पर: Net ₹2,89,569
ये आंकड़े सिर्फ अनुमान के तौर पर दिए गए हैं, ताकि कर्मचारी यह समझ सकें कि अलग-अलग फिटमेंट फैक्टर पर उनकी सैलरी कितनी हो सकती है।
किसे मिलेगा फायदा?
इस आयोग का लाभ करीब 50 लाख केंद्रीय कर्मचारियों और 65 लाख से ज्यादा पेंशनर्स को मिल सकता है। इससे उनकी आय में सीधा असर पड़ेगा।
हालांकि, वास्तविक आंकड़े आठवें वेतन आयोग की अंतिम सिफारिशों और सरकार की मंजूरी के बाद ही सामने आएंगे।
