उत्तर प्रदेश के 63 शहरों में ट्रैफिक की परेशानियों से लोगों को राहत देने के लिए बाईपास सुविधाओं का विकास किया जा रहा है। कई जिलों में बाईपास को निर्मित करने का कार्य तेजी से चल रहा है, जिससे यातायात की भीड़भाड़ को कम किया जा सकेगा। इस पहल से न केवल यात्रा का समय कम होगा, बल्कि लोगों को सुरक्षित और सुगम यात्रा का अनुभव भी मिलेगा। सरकार का यह प्रयास है कि बाईपास के माध्यम से शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों के बीच आवागमन को और अधिक सरल बनाया जा सके।लोनिवि ने सरकार को एक रिपोर्ट प्रस्तुत की है, जिसमें बताया गया है कि अभी के समय में 12 शहरों में बाईपास या रिंग रोड की सुविधा नहीं है। इस कमी के कारण स्थानीय निवासियों को ट्रैफिक की गंभीर परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। जिन जिलों में यह स्थिति है, उनमें बहराइच, गोंडा, मीरजापुर, मैनपुरी, फर्रुखाबाद, औरैया, भदोही, बुलंदशहर, संभल, चंदौली, बागपत और श्रावस्ती सम्मिलित हैं।
इस रिपोर्ट के अनुसार, इन जिलों में बाईपास की अनुपस्थिति से न केवल यातायात में रुकावट आ रही है, बल्कि इससे लोगों का समय भी बर्बाद हो रहा है। स्थानीय प्रशासन और सरकार इस मुद्दे को गंभीरता से ले रही है और जल्द ही इस समस्या के समाधान के लिए कदम उठाने की योजना बना रही है। उम्मीद की जा रही है कि बाईपास निर्माण के जरिए इन जिलों में यातायात को सुगम बनाया जा सकेगा।