उत्तर प्रदेश में 6 नए मेडिकल कॉलेज को मंजूरी मिल गई है, चिकित्सा शिक्षा विभाग की शीर्ष नीति निकाय संस्था राष्ट्रीय चिकित्सा परिषद में दायर अपील मंजूर होने के बाद छह मेडिकल कॉलेजों को हरी झंडी मिल गई है। छह जिलों में प्राइवेट पब्लिक पार्टनरशिप मॉडल में खुलन वाले मेडिकल कॉलेजों के लिए अब हर माह निविदा प्रक्रिया अपनाई जा रही है। इस वर्ष प्रदेश के सभी जिलों में कम से कम एक मेडिकल कॉलेज खोलने का लक्ष्य पूरा हो जाएगा।
उत्तर प्रदेश को बड़ी सौगात, 6 जिलों में खुलेंगे नए मेडिकल कॉलेज
सीएम योगी आदित्यनाथ ने खुद इसको लेकर पहल की थी और केंद्र सरकार के स्तर पर स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा से भी बातचीत की थी। एक साल के भीतर उत्तर प्रदेश में 1200 अतिरिक्त मेडिकल सीट जुड़ी हैं। देश में उत्तर प्रदेश पहला ऐसा राज्य बना है, जिसको एक साल के भीतर ही इतनी मेडिकल की 1200 सीटें दी गई हैं। जिला चिकित्सालयों को मेडिकल कॉलेजों के रूप में अपग्रेड किया जा रहा हैण् नए मेडिकल कॉलेज भी बनाए गए हैं। प्रदेश सरकार की ओर से एक जिला एक मेडिकल कॉलेज की योजना चल रही है। इसके तहत 16 जिलों में पीपीपी मॉडल के तहत मेडिकल कॉलेज खोलने की रणनीति बनाई गई है। मौजूदा दाखिला सत्र में संभल में एमबीबीएस की 50 सीटें, महराजगंज में 150, शामली में 150 सीट के साथ कॉलेज शुरू हो गए हैं। मऊ, हाथरस, कासंगज, बागपत में पीपीपी मॉडल के तहत निर्माण कार्य चल रहा है। मैनपुरी में पिछले माह मेडिकल कॉलेज बनाने वाले निवेशक का चयन कर लिया गया है। इसी तरह महोबा, हमीरपुर के लिए भी टेंडर प्रक्रिया अंतिम दौर में है। इससे पहले राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग ने अगस्त में भी 7 नए मेडिकल कॉलेजों की मंजूरी दी थी, इससे यूपी में सीटों की संख्या 10 हजार के पार कर गई थी। प्रदेश में सरकारी और निजी मेडिकल कॉलेजों को मिलाकर 10500 से ज्यादा मेडिकल सीटें हो गई हैं।
डॉक्टरी की पढ़ाई के लिए बढ़ेंगी 1200 सीटें
उत्तर प्रदेश की की योगी आदित्यनाथ सरकार ने तब 13 नए मेडिकल कॉलेज खोलने और सीटें बढ़ाने की स्वीकृति मांगी थी, हालांकि तब छह मेडिकल कॉलेजों की मंजूरी तमाम मानकों को लेकर नहीं दी गई थी, इसके बाद सीएम योगी खुद केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा से मिले थे, इसके बाद नए सिरे से कवायद की गई औऱ अब इन्हें भी मंजूरी मिल गई है। बाकी बचे छह जिलों (रामपुर, चित्रकूट, संत कबीरनगर, भदोही, बलिया और श्रावस्ती) में निविदा प्रक्रिया चल रही है। इन जिलों में निवेशक का चयन करने के लिए हर माह निविदा प्रक्रिया अपनाई जा रही है। इसके तहत जिन जिलों के लिए निवेशक मिल जा रहे हैं, उन्हें अलग कर लिया जा रहा है। चिकित्सा शिक्षा विभाग की रणनीति है कि वर्ष 2025 में जुलाई- अगस्त तक हर जिले में मेडिकल कॉलेज खोलने की प्रक्रिया पूरी कर ली जाए ताकि अगले सत्र में एमबीबीएस का दाखिला शुरू कराया जा सके। देश में उत्तर प्रदेश पहला ऐसा राज्य बनाए जिसको 1 साल के भीतर ही मेडिकल की 1200 सीटें दी गई है, उत्तर प्रदेश में चिकित्सा व्यवस्था सुधारने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार लगातार प्रयत्नशील है, उत्तर प्रदेश की सरकार के लगातार प्रयास के बाद उत्तर प्रदेश में इस वर्ष 1200 सीटे मेडिकल के लिए नेशनल मेडिकल काउंसिल द्वारा मंजूर की गई है, इन सीटों के बढ़ने से उत्तर प्रदेश में डॉक्टरों की संख्या में वृद्धि होगी, जिससे चिकित्सा व्यवस्था बेहतर होने की उम्मीद है।