New Expressways: केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी परियोजना भारतमाला के तहत पूरे देश को एक सूत्र में पिरोने की योजना बनाई गई है. इस परियोजना का उद्देश्य भारत के विभिन्न हिस्सों को एक्सप्रेसवे और हाईवे नेटवर्क के माध्यम से जोड़ना है. हरियाणा में इस परियोजना के तहत तीन नए एक्सप्रेसवे की मंजूरी दी गई है जो न केवल राज्य की कनेक्टिविटी बढ़ाएंगे, बल्कि सफर को तेज और सुविधाजनक बनाएंगे.
दिल्ली-चंडीगढ़ का सफर होगा आसान
हरियाणा में बनने वाले इन तीन एक्सप्रेसवे के पूरा होने के बाद दिल्ली से चंडीगढ़ (Delhi to Chandigarh travel time reduced) का सफर महज ढाई घंटे में पूरा किया जा सकेगा. ये एक्सप्रेसवे राज्य के प्रमुख शहरों को राजधानी दिल्ली और अन्य पड़ोसी राज्यों से जोड़ने में अहम भूमिका निभाएंगे.
पानीपत-डबवाली एक्सप्रेसवे
पानीपत से डबवाली तक बनने वाला एक्सप्रेसवे (Panipat to Dabwali Expressway) 300 किलोमीटर लंबा होगा. यह 4 लेन का हाइवे पानीपत को डबवाली, कालावाली, रोडी, सरदुलगढ़, हांसपुर, रतिया, भूना, सनियाणा, उकलाना, लीतानी, उचाना, नगुरां, असंध और सफीदो से जोड़ेगा. इस एक्सप्रेसवे से इन कस्बों की आर्थिक और सामाजिक गतिविधियों को बल मिलेगा.
हिसार-रेवाड़ी एक्सप्रेसवे
हिसार से रेवाड़ी तक बनने वाला एक्सप्रेसवे (Hisar to Rewari Expressway) हरियाणा का दूसरा बड़ा हाईवे होगा. यह हाईवे गुरुग्राम, रोहतक, भिवानी-महेंद्रगढ़ और हिसार जैसे औद्योगिक और शैक्षणिक हब से होकर गुजरेगा. इसके निर्माण से अंबाला, चंडीगढ़ और पंजाब तक कनेक्टिविटी (improved connectivity to Chandigarh and Punjab) आसान हो जाएगी, जिससे यात्रियों और व्यापारियों को बड़ा लाभ होगा.
दिल्ली-अंबाला एक्सप्रेसवे
दिल्ली-अंबाला एक्सप्रेसवे (Delhi to Ambala Expressway) दिल्ली के अक्षरधाम से शुरू होकर अंबाला तक जाएगा. इस हाईवे से अंबाला, यमुनानगर, कुरुक्षेत्र और पंचकूला को बेहतर कनेक्टिविटी (better connectivity for Ambala and Panchkula) मिलेगी. साथ ही, पानीपत, करनाल और सोनीपत के ट्रैफिक पर इसका सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा.
आर्थिक और सामाजिक विकास को बढ़ावा
इन एक्सप्रेसवे के निर्माण से हरियाणा के ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों (economic growth in Haryana) के विकास को गति मिलेगी. यह परियोजना राज्य के व्यापार, उद्योग और परिवहन को नई ऊंचाई पर ले जाएगी. छोटे कस्बों को भी राष्ट्रीय स्तर पर बेहतर कनेक्टिविटी मिलेगी, जिससे रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे.
पर्यावरण और ईंधन की बचत
इन हाईवे के बनने से न केवल समय की बचत होगी, बल्कि ईंधन की खपत (fuel savings on highways) भी कम होगी. साथ ही, ट्रैफिक कम होने से पर्यावरण प्रदूषण (reduced pollution on highways) में भी कमी आएगी.
परियोजना की समय सीमा
भारतमाला परियोजना के तहत हरियाणा में बनने वाले ये तीन एक्सप्रेसवे 2025 तक तैयार होने की उम्मीद (completion timeline for expressways) है. सरकार ने इनके निर्माण में तेजी लाने के निर्देश दिए हैं ताकि लोग जल्द से जल्द इनका लाभ उठा सकें.