UP Board Exam: यूपी बोर्ड की इंटरमीडिएट प्रयोगात्मक परीक्षा में प्रयोगशाला की क्षमता के आधार पर यूपी बोर्ड यह आकलन करेगा कि परीक्षक ने एक दिन में अधिक परीक्षार्थियों की परीक्षा ली है या नहीं। पहली बार बोर्ड यह डाटा सॉफ्टवेयर के जरिए निकालेगा, क्योंकि परीक्षक एप के जरिए परीक्षार्थियों को ऑनलाइन अंक उपलब्ध कराएंगे। इसी आधार पर संबंधित केंद्र के प्रधानाचार्य को नोटिस जारी कर स्पष्टीकरण भी मांगा जाएगा।
बोर्ड प्रत्येक जिले में करीब पांच फीसदी केंद्रों का ऑडिट भी कराएगा, जिसमें ऐसे केंद्र भी शामिल होंगे, जहां एक दिन में अधिक संख्या में परीक्षार्थियों को अंक दिए गए हैं। पहले चरण में आठ मंडलों अलीगढ़, मेरठ, मुरादाबाद, कानपुर, प्रयागराज, गोरखपुर, वाराणसी और मिर्जापुर मंडलों के 36 जिलों के 738 परीक्षा केंद्रों पर प्रयोगात्मक परीक्षाएं चल रही हैं।
परीक्षा को निष्पक्ष तरीके से संपन्न कराने के लिए बोर्ड सचिव भगवती सिंह ने उन्हीं शिक्षकों को परीक्षक नियुक्त किया है, जिनके विद्यालय की उपलब्धियां अच्छी रही हैं। ऐसे में विद्यालय की प्रयोगशाला में 30-40 परीक्षार्थियों की अनुमानित क्षमता के आधार पर अधिकतम तीन-चार चक्रों में परीक्षा आयोजित की जाएगी।
परीक्षा मानक के अनुसार हुई या नहीं, यह देखने के लिए परीक्षार्थियों की संख्या की गणना की जाएगी। एक ही दिन में अधिक परीक्षार्थियों को अंक दिए जाने पर परीक्षक व प्रधानाचार्य को नोटिस जारी कर स्पष्टीकरण मांगा जाएगा।
विद्यालयों में होगा ऑडिट
जिन विद्यालयों में दो प्रयोगशालाएं या बड़ी प्रयोगशालाएं हैं, वहां अधिक परीक्षार्थियों की परीक्षा हो सकेगी। बोर्ड ने प्रत्येक जिले में पांच प्रतिशत केंद्रों की प्रायोगिक परीक्षा का ऑडिट करने का भी निर्णय लिया है।
इसमें उन विद्यालयों का ऑडिट किया जाएगा, जिसमें देखा जाएगा कि प्रायोगिक परीक्षा मानक के अनुसार हुई या नहीं। इसके अलावा ऑडिट में परीक्षा की शुचिता भी परखी जाएगी। पहली बार बोर्ड यह डाटा सॉफ्टवेयर के जरिए निकालेगा, क्योंकि परीक्षक एप के जरिए परीक्षार्थियों को ऑनलाइन अंक उपलब्ध कराएंगे। इसी आधार पर संबंधित केंद्र के प्रधानाचार्य को नोटिस जारी कर स्पष्टीकरण भी मांगा जाएगा।