UP News : उत्तर प्रदेश के योगी आदित्यनाथ सरकार की ओर से लगातार नए-नए नियम बनाए जा रहे हैं। पुराने नियमों को लोगों की सहूलियत के लिए बदला जा रहा है। अब किसानों के हित में योगी आदित्यनाथ सरकार की ओर से चकबंदी के नियमों में बदलाव किया गया है। अब चकबंदी के लिए किसानों की सहमति जरूरी कर दी है।
उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार की ओर से चकबंदी के नियमों में बड़ा बदलाव किया गया है। यह बदलाव किसानों के हित को ध्यान में रखते हुए किया गया है।
अब चकबंदी करने के लिए किसानों की सहमति की आवश्यकता होगी। इसके लिए एक आंकड़ा भी निर्धारित कर दिया गया है।
ग्राम प्रधान और पंचायत के प्रस्ताव की प्रक्रिया बदली
उत्तर प्रदेश में पहले चकबंदी (Chakbandi k rules) के लिए ग्राम प्रधान और पंचायत के प्रस्ताव पास होने पर कार्य शुरू कर दिया जाता था। अब नए नियम बना दिए गए हैं और इससे प्रक्रिया को भी बदल दिया है। नए नियम को पारदर्शिता के साथ बनाया गया है। इससे किसानों का भरोसा सरकार के प्रति मजबूत होगा।
नियमों को सरल बनाने के लिए लिया गया फैसला
उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार (Yogi Govt Consolidation new rules) की ओर से चकबंदी के नियमों को सरल बनाने के लिए यह फैसला लिया गया है। अब इससे पारदर्शी ढंग से किसानों के हित में चकबंदी शुरू की जा सकेगी।
पहले केवल ग्राम प्रधान और ग्राम पंचायत के बहुमत से चकबंदी शुरू हो जाती थी, परंतु अब इसमें किसानों की सहमति को अनिवार्य कर दिया गया है। इससे अनावश्यक विवाद उत्पन्न होने से बचेगा और कानूनी अड़चन भी कम हो जाएंगी।
सरकार ने जारी किए निर्देश
उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ (Yogi Govt) सरकार की ओर से जिलाधिकारी को स्पष्ट निर्देश जारी कर दिए गए हैं कि चकबंदी (Consolidation new rules in UP) शुरू करने से पहले किसानों से लिखित में सहमति ली जाए।
साथ में गांव में जागरूकता अभियान चलाने और किसानों को चकबंदी के फायदे बताने के बारे में भी निर्देशित किया गया है। विशेषज्ञों का भी मानना है कि नए नियम से पार्दर्शित बढ़ेगी और किसानों का भरोसा और ज्यादा मजबूत होगा। छोटे और सीमांत किसानों को इससे ज्यादा लाभ होगा।
पहले विवादों में रही है चकबंदी
चकबंदी (UP me chakbandhi) के दौरान किसानों की अलग-अलग जगह पर जमीन को एक जगह करने की प्रक्रिया की जाती है। इससे पहले चकबंदी की प्रक्रिया ग्राम प्रधान और पंचायत के प्रस्ताव पर फ्री हो जाती थी, जो गांव वालों की मर्जी के खिलाफ भी मिलती थी।
इसकी वजह से विवाद होने पर मामले अदालत तक पहुंच जाते थे। किसानों की राय लिए बिना चकबंदी शुरू करना एक विवाद को खड़े करने जैसा था।
इन गांवों में नहीं हुई चकबंदी
उत्तर प्रदेश के 1767 गांव में चकबंदी (chakbandi) के लिए उपयोगिता मानी गई है। बाकी गांव में भू भाग, नदी कटाव, भूमि अधिग्रहण और वन क्षेत्र अधिक होने के कारण चकबंदी संभव नहीं है। उत्तर प्रदेश के कुल 6974 गांव में अब तक एक बार भी चकबंदी नहीं हुई है।
क्या है नया नियम
उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार (yogi adityanath government) की ओर से चकबंदी के लिए नया नियम शुरू कर दिया गया है। इस नियम के अनुसार गांव के 75% किसानों से लिखित सहमति लेनी होगी।
इसके बाद जिलाधिकारी को इसके लिए प्रारूप भेजा गया है, उसी के अनुसार प्रक्रिया शुरू करनी होगी। प्रक्रिया को पूरी तरीके से पारदर्शी बनाया जाएगा।
