1 अप्रैल से 17 सितंबर 2025 के बीच नेट डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन 9.18% की बढ़त के साथ ₹10.82 लाख करोड़ से ज्यादा हो गया है। वित्त मंत्रालय द्वारा गुरुवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, इस अवधि में टैक्स रिफंड्स 23.87% घटकर ₹1.60 लाख करोड़ पर आ गए। वहीं, ग्रॉस टैक्स कलेक्शन 3.39% बढ़कर ₹12.43 लाख करोड़ दर्ज किया गया।
टैक्स कलेक्शन का विस्तृत विवरण
इस अवधि में सरकार को कॉरपोरेट टैक्स से ₹4.72 लाख करोड़, नॉन-कॉरपोरेट टैक्स से ₹5.83 लाख करोड़, सिक्योरिटीज ट्रांजैक्शन टैक्स (STT) से ₹26,000 करोड़ और अन्य करों से ₹291 करोड़ की प्राप्ति हुई।
वित्त वर्ष 2025-26 का लक्ष्य
सरकार ने मौजूदा वित्त वर्ष (FY26) में डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन का लक्ष्य ₹25.20 लाख करोड़ रखा है, जो पिछले साल के मुकाबले 12.7% अधिक है। इसके साथ ही, केवल STT से ही ₹78,000 करोड़ जुटाने की उम्मीद है।
नेट डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन क्या है?
नेट डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन का मतलब है—सरकार द्वारा लोगों और कंपनियों से सीधे टैक्स के रूप में वसूली गई कुल रकम, जिसमें से रिफंड की राशि घटा दी जाती है। सरल शब्दों में कहें तो ग्रॉस टैक्स कलेक्शन से रिफंड निकालने के बाद बची हुई राशि ही नेट डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन कहलाती है।