Business Idea: भारतीय कृषि क्षेत्र में पिपरमेंट की खेती तेजी से बढ़ रही है, खासकर मध्य प्रदेश के छतरपुर जैसे क्षेत्रों में जहां किसान पिपरमेंट का तेल निकालने के लिए विशेष प्लांट लगा रहे हैं। पिपरमेंट के तेल की बढ़ती मांग के कारण यह व्यापार न केवल लाभदायक है बल्कि इसमें विकास की अपार संभावनाएं भी हैं।
पिपरमेंट तेल प्लांट की स्थापना और निवेश
पिपरमेंट के तेल की निकासी के लिए एक प्लांट स्थापित करना एक कम लागत वाला और उच्च रिटर्न वाला व्यवसाय है। छतरपुर के किसान राममिलन पटेल के अनुभव के अनुसार, प्लांट स्थापित करने में लगभग 3.5 लाख रुपये का खर्च आता है, जिसे सरकारी सहायता और ऋण सुविधाओं के माध्यम से भी प्राप्त किया जा सकता है।
पिपरमेंट की पेराई से आय
पिपरमेंट के प्लांट में पेराई की लागत कम होती है और किसान कुछ ही समय में अच्छी आय प्राप्त कर सकते हैं। जैसा कि किसान राममिलन पटेल ने बताया, पिपरमेंट की पेराई की लागत 50 से 60 रुपये प्रति लीटर होती है और इस दौरान वे अपने प्लांट से लगभग 2 से 3 लाख रुपये की आय प्राप्त कर लेते हैं।
पिपरमेंट तेल निकालने की प्रक्रिया
पिपरमेंट की पत्तियों को एक बड़े टैंक में डाला जाता है जहां वे गर्म पानी से संपर्क में आती हैं। भाप के माध्यम से तेल को पत्तियों से अलग किया जाता है और फिर तेल को एकत्रित किया जाता है। यह प्रक्रिया तकनीकी रूप से सरल है और इसे ग्रामीण क्षेत्रों में भी आसानी से अपनाया जा सकता है।
पिपरमेंट तेल उद्योग के लिए भविष्य की संभावनाएं
पिपरमेंट तेल उद्योग में निवेश करने से न केवल व्यक्तिगत आय में वृद्धि होती है, बल्कि यह स्थानीय अर्थव्यवस्था में भी सकारात्मक योगदान देता है। इस उद्योग के विकास से नई रोजगार निर्माण की संभावनाएं भी खुलती हैं, जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में आर्थिक समृद्धि आती है।