Pilot Qualification: पायलट बनने का सपना कौन नहीं देखता, लेकिन सही जानकारी के अभाव में कई युवाओं का यह सपना अधूरा रह जाता है। नागरिक उड्डयन मंत्री के राममोहन नायडू ने हाल ही में घोषणा की है कि आने वाले सालों में देश में 20,000 से ज्यादा पायलटों की जरूरत होगी। भारतीय एविएशन सेक्टर दुनिया में सबसे तेजी से बढ़ते हुए उद्योगों में से एक है, जिससे इस क्षेत्र में करियर की अनलिमिटेड संभावनाएं बन रही हैं।
क्या है कमर्शियल पायलट?
कमर्शियल पायलट वह होते हैं, जो किसी एयरलाइन कंपनी के लिए उड़ान भरते हैं। यह एक उच्च वेतन वाला और रोमांचक करियर ऑप्शन है, लेकिन इसके लिए कड़ी मेहनत और सही ट्रैनिंग की जरूरत होती है। एविएशन इंडस्ट्री की बढ़ती मांग को देखते हुए, इस क्षेत्र में योग्य और ट्रैन्ड पायलटों की जरूरत बढ़ रही है।
पायलट बनने के लिए एजुकेशनल क्वालीफ़िकेसन
यदि आप एविएशन में करियर बनाना चाहते हैं और पायलट बनने की इच्छा रखते हैं, तो सबसे पहले आपको 12वीं कक्षा पास करनी होगी।
- 12वीं साइंस स्ट्रीम से पास होना अनिवार्य है।
- फिजिक्स, केमिस्ट्री और मैथ्स (PCM) विषयों में अच्छे अंक होने चाहिए।
- कुछ संस्थानों में न्यूनतम 50% से 60% अंकों की आवश्यकता होती है।
पायलट बनने के लिए जरूरी फिजिकल फिटनेस
पायलट बनने के लिए केवल एजुकेशनल क्वालीफ़िकेसन ही पर्याप्त नहीं होती, बल्कि फिजिकल फिटनेस भी अत्यंत महत्वपूर्ण है।
- उम्र सीमा: 17 से 24 साल के बीच होना चाहिए।
- लंबाई: न्यूनतम 157 सेमी होनी चाहिए।
- वजन: शरीर के अनुपात में सही होना चाहिए।
- आंखों की रोशनी: 6/6 या 6/9 तक होनी चाहिए, यदि चश्मे की जरूरत हो तो वह सीमित सीमा में स्वीकार्य होता है।
- सुनने की क्षमता: पूरी तरह दुरुस्त होनी चाहिए।
पायलट बनने की प्रक्रिया
पायलट बनने की पूरी प्रक्रिया को समझना जरूरी है ताकि इस करियर में आगे बढ़ने की योजना बनाई जा सके। यह प्रक्रिया इन चरणों में विभाजित होती है:
1. 12वीं के बाद पायलट ट्रेनिंग कोर्स में प्रवेश
12वीं के बाद पायलट बनने के लिए आपको किसी मान्यता प्राप्त एविएशन एकेडमी में एडमिशन लेना होगा।
2. एयरलाइन ट्रांसपोर्ट पायलट लाइसेंस (ATPL) प्राप्त करें
कमर्शियल पायलट बनने के लिए DGCA (Directorate General of Civil Aviation) से लाइसेंस प्राप्त करना अनिवार्य होता है। लाइसेंस प्राप्त करने के लिए ये टेस्ट पास करने होते हैं:
- रिटन एग्जाम: एविएशन रूल्स, मेट्रोलॉजी, एयर नेविगेशन आदि विषयों पर आधारित परीक्षा।
- मेडिकल टेस्ट: DGCA द्वारा निर्धारित मेडिकल परीक्षाओं को पास करना होगा।
- फ्लाइट ट्रेनिंग: 200 से अधिक घंटों की उड़ान ट्रेनिंग पूरी करनी होती है।
3. फ्लाइंग स्कूल में ट्रेनिंग पूरी करें
आपको DGCA द्वारा मान्यता प्राप्त किसी फ्लाइंग स्कूल में ट्रेनिंग करनी होगी। भारत में कुछ प्रमुख फ्लाइंग स्कूल ये हैं:
- इंदिरा गांधी इंस्टीट्यूट ऑफ एरोनॉटिक्स, कोच्चि
- इंदिरा गांधी इंस्टीट्यूट ऑफ एरोनॉटिक्स, चंडीगढ़
- राजीव गांधी एविएशन अकादमी, हैदराबाद
- कैप्टन गोपी एविएशन, बेंगलुरु
- IGRUA (Indira Gandhi Institute of Aeronautics), अमेठी
पायलट बनने के लिए आवश्यक दस्तावेज
- 10वीं और 12वीं की मार्कशीट
- आयु प्रमाण पत्र
- पासपोर्ट
- मेडिकल सर्टिफिकेट (DGCA से प्रमाणित)
- एयर कैडेट एप्टीट्यूड टेस्ट (CPSS) पास होना चाहिए
पायलट बनने में लगने वाला समय और खर्च
पायलट बनने की प्रक्रिया में आमतौर पर 3 से 4 साल का समय लगता है। यह कोर्स महंगा होता है और इसमें 30 लाख से 50 लाख रुपये तक का खर्च आ सकता है। हालांकि, कुछ एयरलाइंस स्कॉलरशिप और एजुकेशन लोन की सुविधा भी प्रदान करती हैं
एविएशन में करियर के अवसर
एक बार पायलट लाइसेंस प्राप्त करने के बाद, कई करियर ऑप्शन उपलब्ध होते हैं:
- कमर्शियल एयरलाइंस (Commercial Pilot): इंडिगो, एयर इंडिया, स्पाइसजेट, गोएयर जैसी एयरलाइंस में पायलट बन सकते हैं।
- कार्गो पायलट (Cargo Pilot): FedEx, Blue Dart जैसी कंपनियों में कार्गो पायलट बनने का अवसर मिलता है।
- प्राइवेट जेट पायलट: बिजनेस टाइकून और बड़ी कंपनियों के निजी जेट के लिए काम कर सकते हैं।
- डिफेंस पायलट (Defense Pilot): इंडियन एयरफोर्स, नेवी, आर्मी एविएशन में पायलट बन सकते हैं।