Post Office Scheme: पोस्ट ऑफिस में भी बैंक की तरह विभिन्न निवेश योजनाएं चलाई जाती हैं, जिनमें से एक पोस्ट ऑफिस टाइम डिपॉजिट (FD) है। अगर आप सुरक्षित निवेश और अच्छे ब्याज दर की तलाश में हैं, तो पोस्ट ऑफिस की इस स्कीम में निवेश करना एक बेहतरीन विकल्प है। आइए जानते हैं इसके मुख्य फायदे और सावधानियां।
पोस्ट ऑफिस टाइम डिपॉजिट पर ब्याज दरें
पोस्ट ऑफिस आपको 1, 2, 3 और 5 साल के टेन्योर वाली एफडी के ऑप्शन देता है, और इन पर ब्याज दरें भिन्न-भिन्न होती हैं। लेकिन 5 साल के टेन्योर में निवेश करना अधिक फायदेमंद है, क्योंकि इसमें ब्याज दर ज्यादा होती है और साथ ही टैक्स बेनिफिट भी मिलता है।
टेन्योर ब्याज दर
1 साल 6.8%
2 साल 6.9%
3 साल 7.0%
5 साल 7.5%
5 साल के एफडी पर मुनाफा
5 साल की एफडी पर फिलहाल 7.5% ब्याज मिल रहा है। उदाहरण के लिए, अगर आप ₹5,00,000 निवेश करते हैं, तो 5 साल के बाद आपको कुल ₹7,24,974 मिलेंगे, जिसमें ₹2,24,974 का ब्याज शामिल होगा।
निवेश राशि मूलधन ब्याज कुल राशि (5 साल बाद)
₹5,00,000 ₹5,00,000 ₹2,24,974 ₹7,24,974
टैक्स बेनिफिट
5 साल की एफडी पर निवेश करने पर आप सेक्शन 80C के तहत टैक्स छूट का लाभ उठा सकते हैं। इसका मतलब है कि आपके द्वारा निवेश की गई राशि पर टैक्स की बचत होगी, जिससे आपकी कुल आय पर टैक्स का भार कम होगा।
प्री-मैच्योर क्लोजर पर नुकसान
अगर आप एफडी को मैच्योरिटी से पहले तुड़वाते हैं, तो आपको बड़ा नुकसान हो सकता है। आपको केवल सेविंग अकाउंट की दर (4%) के हिसाब से ब्याज मिलेगा। लागू ब्याज दर से 2% ब्याज घटाकर रिफंड किया जाएगा। उदाहरण के लिए, अगर ब्याज दर 7.5% है, तो प्री-मैच्योर क्लोजर पर आपको 5.5% की दर से ब्याज मिलेगा।
पोस्ट ऑफिस टाइम डिपॉजिट के मुख्य नियम
आप न्यूनतम ₹1,000 से निवेश शुरू कर सकते हैं, अधिकतम राशि की कोई सीमा नहीं है। आप जितने चाहें उतने एफडी अकाउंट्स खुलवा सकते हैं। अकाउंट खोलते समय जो ब्याज दर लागू होती है, वह पूरी अवधि तक वैध रहती है। ब्याज की गणना तिमाही चक्रवृद्धि दर पर की जाती है, और साल के अंत में आपके खाते में जमा होता है।