Kisan News : गेहूं की बुवाई में हो चुकी है देरी तब इन कम अवधि वाली किस्मो का करें चुनाव। गेहूं की बुवाई हर तरफ की जा चुकी है लगभग 75% क्षेत्र में गेहूं की बुवाई हो चुकी है लेकिन कई ऐसी जगह है जहां पर धान की कटाई के बाद में किसान भाई बुवाई करने में लेट हो चुके हैं। तब ऐसे में किसानों को कम अवधि में अच्छा उत्पादन देने वाले गेहूं की किस्म का चुनाव करना चाहिए।
भारतीय कृषि अनुसंधान परिसर के अनुसार, अगर आप देर से बुवाई करते हैं तब आपको उच्च तापमान रोधी किस्म का चुनाव करना ही चाहिए। सही समय पर खाद्य पानी देना है और साथ ही उसे क्षेत्र के लिए वह किस्म कितना उपयुक्त इस बात का खास ध्यान रखना है। आइए इन किस्म के बारे में जान लेते हैं।
गेहूं बुवाई का तरीका
अगर आप गेहूं की बुवाई करने में लेट हो चुके हैं तब आपको ऐसे में गेहूं के बंपर उत्पादन लेने के लिए अच्छी किस्म का चुनाव और सही समय पर बुवाई करना बहुत जरूरी है। आपको बता दे कि आपको पूरी कोशिश करनी है कि जीरो टिलेज के जरिए से ही आपको गेहूं की बुवाई करनी है। अगर आप ऐसा करते हैं तो आपको कम खर्चे में ज्यादा कमाई होगी। साथ ही मिट्टी का स्वास्थ्य और पर्यावरण में संतुलन बहुत शानदार बना रहेगा।
गेहूं की फसल में सिंचाई का सही समय
गेहूं की फसल में अगर सिंचाई की बात करते हैं तब आपको इसमें पहली सिंचाई बुवाई से लगभग 20 से 25 दिन में करनी चाहिए। दूसरी सिंचाई जब कल्ले निकलते वक्त यानी 40 से 45 दिनों में और तीसरी सिंचाई आपको 60 से 65 दिनों में करनी चाहिए वही चौथी सिंचाई आपको 85 से 90 दिनों में करनी चाहिए जब पुष्पन की अवस्था बनती है। वही आपको पांचवी सिंचाई 100 से 115 दिनों में करनी चाहिए। इस प्रकार अगर आप सही समय पर सिंचाई करते हैं तो यह फसल के लिए बहुत शानदार साबित होगा।